दिल के रस्ते ही से होगा, जिनका जाना, कान में लफ्ज़, खुद चाहेंगे फिर वो , गुनगुनाना, कान में सब पे ज़ाहिर हो गया सब,सब को सब कुछ है पता उफ़, तेरा वो राज़ की बातें बताना कान में
जब कि जाहिर है तेरी कैफियत से तेरी हरक़त क्या जरूरी है सुनना फिर फुसफुसाना उनके कान का
बहरो -वजन तो खुद ठीक करिए ...............आपकी आँखों काt.v हर समय इतना मुस्तैद क्यूँ रहता है मनु जी ,कभी कभी मेट्रो में सो भी जाया करिए ..................
मेट्रो में जो देखा उसने इतने शब्दों में व्यक्त किया कि पूछिए नहीं, या शायद इतने नजारे देखे....जो मेट्रो कविता में डाल दिए और आपने चंद शब्द में........वाह
पिछली कई पोस्ट पढ़ डालीं आपके लेखन में बहुत जान नजर आ रही है क्यों न एक नयी पोस्ट हो जाए ? फिर आता हूँ मैं फिल्टर लेकर. याद रहे हर पोस्ट एक नया इम्तिहान है. पिछला रिकार्ड काम न आएगा :))
20 comments:
वाह मनु जी...
एक शेर में कितना कुछ कह गए आप.
wow !..great lines !
चिंतनपरक !
दिल के रस्ते ही से होगा, जिनका जाना, कान में
लफ्ज़, खुद चाहेंगे फिर वो , गुनगुनाना, कान में
सब पे ज़ाहिर हो गया सब,सब को सब कुछ है पता
उफ़, तेरा वो राज़ की बातें बताना कान में
is she'r ko pahchanta hun .... jab ye ban rahaa tha main samajh sakta hun... aur aapne saari ghatanaa sunai thi mujhe iske banane ki....
:)
arsh
एक बात बताईये मनु जी
जब कि जाहिर है तेरी कैफियत से तेरी हरक़त
क्या जरूरी है सुनना फिर फुसफुसाना उनके कान का
बहरो -वजन तो खुद ठीक करिए ...............आपकी आँखों काt.v हर समय इतना मुस्तैद क्यूँ रहता है मनु जी ,कभी कभी मेट्रो में सो भी जाया करिए ..................
waise fusfusane ka apna ek alag hi maza hai..
जनाब... बहुत पैनी नज़र है आपकी !
मेरी एक पोस्ट पर आपने कहा था कि कविता की समझ नहीं, खुद चंद शब्दों में बातों को समटने का हुनर कहां से सीखा फिर। सुभानअल्लाह इस शेर पर....
मेट्रो में जो देखा उसने इतने शब्दों में व्यक्त किया कि पूछिए नहीं, या शायद इतने नजारे देखे....जो मेट्रो कविता में डाल दिए और आपने चंद शब्द में........वाह
वाह, क्या बात है...
sirf sher nahi bandhu, aaka tajhurba hai.
mera geet pasand kita ,dhanywad
rohit g.r.
rohitkalyaan@gmail.com
09425871600/09329895666
sirf sher nahi bandhu, aaka tajhurba hai.
mera geet pasand kita ,dhanywad
rohit g.r.
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sirf sher nahi bandhu, aaka tajhurba hai.
mera geet pasand kita ,dhanywad
rohit g.r.
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09425871600/09329895666
हालत हरकत को बयां कर रही
फुसफुसाहट ...
बहुत खूब कहा मनु दा !!!
koi nayi ghazal Manu ji ?
कौन थी वो फुसफुसाने वाली ......?
किसी की कैफियत को यूँ भी न निहारा कीजिये .....
उधर चर्चा चलता रहा , इधर राज़ खुलते रहे
बता, अब क्या बताना क्या सुनाना कान में ...?
kya bat hai, aapka to ek hee sher kitana kuch keh gaya.
पिछली कई पोस्ट पढ़ डालीं
आपके लेखन में बहुत जान नजर आ रही है
क्यों न एक नयी पोस्ट हो जाए ?
फिर आता हूँ मैं फिल्टर लेकर.
याद रहे हर पोस्ट एक नया इम्तिहान है. पिछला रिकार्ड काम न आएगा :))
vaah kya baat hai manu ji.. bahut khoob..
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